प्रेगनेंसी में चाय पीनी चाहिए या नहीं? कब कैसे और कितनी चाय पीएं

प्रेगनेंसी गर्भवती महिला के लिए बहुत ही चुनौतीपूर्ण समय होता है। क्योंकि इस दौरान महिला को शारीरिक परेशानियों का सामना करने के बाद भी अपनी अच्छे से केयर करनी होती है, जो महिला का खाने का मन होता है कई बार उन्ही चीजों से परहेज करना होता है, अपने रहन सहन के तरीके में बदलाव करना होता है, महिला को मानसिक रूप से परेशानी का अनुभव हो सकता है, आदि। लेकिन महिला यदि अपनी दिनचर्या सही रखती है, क्या खाना है कितना खाना है क्या खाना है, क्या करें क्या नहीं, इन सभी बातों का ध्यान रखती है तो महिला को इन सभी परेशानियों से निजात पाने में मदद मिलती है।

तो आज इस आर्टिकल में हम आपको प्रेग्नेंट महिला की चाय पीने की आदत के बारे में बताने जा रहे हैं। जैसे की जरुरत से ज्यादा चाय पीने के क्या नुकसान होते हैं, महिला को कितनी चाय पीनी चाहिए, किस तरीके से चाय बनाकर पीनी चाहिए आदि। क्योंकि कुछ महिलाओं को चाय पीने की आदत होती है लेकिन प्रेगनेंसी में कब, कितनी और कैसे चाय पीनी चाहिए यदि इस बात का ध्यान न रखा जाये तो इसका असर माँ व् बच्चे दोनों की सेहत पर पड़ सकता है।

क्या प्रेगनेंसी में चाय पी सकते हैं?

कुछ महिलाओं की दिन की शुरुआत ही चाय से होती है। लेकिन यदि आप प्रेग्नेंट हैं तो आपको अपनी इस आदत में बदलाव करना जरुरी है। क्योंकि आप थोड़ी चाय का सेवन प्रेगनेंसी के दौरान कर तो सकती हैं लेकिन चाय का सेवन करने के साथ ही आपको बहुत सी बातों का ध्यान भी रखना पड़ता है। जैसे की सुबह उठने के बाद पहले महिला को कुछ खाना या पीना चाहिए उसके बाद चाय पीनी चाहिए। साथ ही चाय के साथ कुछ न कुछ खाना जरूर चाहिए। क्योंकि खाली पेट चाय पीने से या सिर्फ चाय का सेवन करने से महिला को पेट सम्बन्धी परेशानी होने का खतरा होता है।

प्रेगनेंसी में एक टाइम चाय पीने से क्या होता है?

गर्भावस्था के दौरान यदि महिला दिन में एक बार चाय का सेवन करती है तो बहुत अच्छी बात है क्योंकि एक बार चाय का सेवन महिला प्रेगनेंसी के दौरान कर सकती है। लेकिन साथ ही चाय का सेवन करते समय महिला को ध्यान रखना चाहिए। जैसे की यदि आप एक बार चाय पी रही है तो इसका मतलब यह नहीं है की आप एक ही बार में गिलास भरकर चाय का सेवन करें, सुबह उठने के बाद खाली पेट चाय का सेवन नहीं करें, ज्यादा मीठे वाली चाय न पीएं, चाय में अदरक तुलसी आदि का अधिक इस्तेमाल करने से बचें, तेज पत्ती और कम दूध वाली चाय न पीएं, काली चाय पीने से बचें। यदि आप चाय पीना चाहती है तो एक कप, नोर्मल मीठा, नोर्मल पत्ती, ज्यादा दूध वाली चाय का सेवन करें।

प्रेगनेंसी में दो टाइम चाय पीने से क्या होता है?

यदि महिला का कभी मन होता है तो महिला दो बार भी चाय पी सकती है। लेकिन ऐसा नहीं है की एक कप चाय पीने के बाद तुरंत ही दूसरा कप भी चाय का पी लें। बल्कि चाय पीने के कारण आपको कोई परेशानी न हो इसके लिए एक कप सुबह तो एक कप शाम को चाय का सेवन करें। और जिन बातों का ध्यान आपको एक कप चाय का सेवन करते हुए रखना चाहिए उन्ही बातों का ध्यान प्रेग्नेंट महिला को दो कप चाय का सेवन करते हुए भी रखना चाहिए।

प्रेगनेंसी में तीन कप चाय का सेवन करने से क्या होता है?

गर्भवती महिला को इतनी चाय का सेवन करने से बचना चाहिए। क्योंकि चाय में कैफीन की मात्रा मौजूद होती है। और अधिक मात्रा में कैफीन का सेवन महिला और बच्चे दोनों के लिए नुकसानदायक होता है। यदि महिला तीन या उससे ज्यादा चाय का सेवन प्रेगनेंसी में करती है तो इसके कारण महिला को पेट में गैस, सीने में जलन, घबराहट, मुँह का स्वाद खराब होना, भूख में कमी, आदि की समस्या होती है। साथ ही इसका असर बच्चे पर भी पड़ता है क्योंकि महिला यदि अधिक मात्रा में कैफीन लेती है तो इससे बच्चे के विकास में कमी आती है। जिसके कारण जन्म के समय शिशु के वजन में कमी जैसी परेशानी का सामना महिला को करना पड़ सकता है।

तो यह हैं कुछ टिप्स जो चाय का सेवन करते हुए प्रेग्नेंट महिला को ध्यान में रखने चाहिए। ताकि प्रेग्नेंट महिला की चाय पीने की इच्छा भी पूरी हो जाये और महिला को इन सभी परेशानियों से बचे रहने में मदद मिल सके।

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